मिलिए : गन्ना किसान (Ganna Kisan) सुरेश कमाते हैं साल में 70 लाख रु

Ganna Kisan सुरेश कबाडे बन रहे हैं किसानों के लिए मिसाल

Arvind Shukla जी ने फेसबुक पर गन्ना किसान सुरेश कबाडे के बारे में लिखा है कि-“

मिलिए प्रगतिशील गन्ना किसान सुरेश कबाडे अन्ना (Ganna Kisan Suresh Kabade) से

वो महाराष्ट्र के सांगली जिले के करंदवाड़ी गांव में रहते हैं। लेकिन उन्हें देश के लगभग हर हिस्से के गन्ना किसान (Ganna kisan) जानते हैं। वो गन्ने की खेती से सालाना 70 लाख के करीब कमाई करते हैं। पिछले 17 वर्षों से लगभग 100 टन प्रति एकड़ (1000 कुंटल प्रति एकड़) का उत्पादन ले रहे हैं।

मात्र आठवीं तक पढ़े सुरेश कबाडे (Ganna Kisan Suresh Kabade) अन्ना से कई लाख किसान फेसबुक और दूसरे माध्यमों से जुड़े हैं। आप उनका खेत देखेंगे तो समझ आएगा, किसी ने करीने से अपना घर सजाया हो..

Sugarcane Farmer
सुरेश कबाडे से अरविंद शुक्ला बातचीत करते हुए

मेरे बहुत अच्छे मित्र और शुभचिंतक हैं..  महाराष्ट्र की पिछले यात्रा के दौरान जब मैं उनके यहां पहुंचा तो वो गन्ना बुवाई के लिए खेत तैयार कर रहे थे,. मैंने कहा सही मौका है यहीं पर पूरी जानकारी ले सकते हैं.

100 टन प्रति एकड़ उत्पादन को लेकर गन्ना किसानों (Ganna kisan) की राय अलग हो सकती है। कई किसानों की तकनीकी अलग हो सकती है लेकिन इसमे कोई दो राय नहीं कि सुरेश कबाडे अपने खेतों में कितना पसीना बहाते हैं, कैसे अपनी विकसित तकनीकों के जरिए वो लगभग हर फसल में बंपर उत्पादन लेते हैं, मुनाफा कमाते हैं। फिर चाहे वो गन्ना हो, केला, सोयाबीन या फिर चना और हल्दी.. अच्छा उत्पादन और मुनाफा यही उनके मूल मंत्र हैं।

News Potli पर मैंने उनसे लंबी बात की, तो मुझे लगता है की दूसरी फसल उगाने वाले किसानों के लिए भी काम की है..

वीडियो का लिंक – Ganna Kisan Suresh Kabade गन्ने की खेती सीखने दूर-दूर से किसान आते हैं

सुरेश कबाडे ने गन्ना बुआई पर विस्तार से लिखा है कि-

गन्ना डायरी भाग:-96

टारगेट एकरीं 100टन भाग:-6

बीज प्रक्रिया और 1 नेत्र मोमबत्ती लगाने की विधि भाग:-3

बीज प्रक्रिया:- कंडी कीड़ों, खाँसी, घाव के रोग को नियंत्रित करने के लिए क्लोरोपीरीफोस 20 प्रतिशत 2 मिलीलीटर 1 लीटर, या 50 प्रतिशत क्लोरो, 1 लीटर 1 मिलीलीटर, बविस्टीन 1 ग्राम, इस मात्रा में 100 लीटर पानी में और खरपतवार को 10 मिनट डुबोएं। अगर आप इस प्रक्रिया के बाद बैक्टीरिया का इलाज करना चाहते हैं तो क्लोरो, बविस्टीन की प्रक्रिया के बाद बीज सुखाएं। उसके बाद बीजों को 10 लीटर पानी में 1 लीटर एकाटोबैक्टर, 1 लीटर पी.एस.बी. (उत्साहपूर्ण घुलने वाले जीवाणु) को 20 मिनट तक डुबोकर छाया में सुखा दें।

जीवाणु प्रक्रिया से 92 प्रतिशत तक नात्रा और 90 प्रतिशत स्पर खाद की बचत होती है और उत्पादन बढ़ता है।

1 आँख छूने पर वेरम्बा पर डंडा न लगाएं, क्योंकि दोनों आँखों के बीच दूरी कम और ज्यादा है। सभी आँखों की एक जैसी दूरी बनाए रखने के लिए मार्क करें और लागू करें।

ताकत की जमीन या फसल बदल जाये तो दो आँखों के बीच दो फीट का फासला रखो जमीन को आराम न हो, अगर लगातार गन्ना निकाल रहे हो तो दो आँखों के बीच 1.5 फीट की दूरी रखें।

मार्क करने के बाद 1 नजर डंडी पर लगाते समय डंडी उस जगह पर रखें जो ऊपर अंकित है। और डंडा रखते हुए हर नजर को ध्यान में रखें। नजर नरम हो या बुरी हो तो उसमे अच्छी नजर वाली छड़ी रखें। क्योंकि यदि आप रोपण करते समय एक आँख का अंतर 1.5 फुट पर गिरता है तो यह 3 फुट है। जगह पर 2 फीट होने पर 4 फीट की दूरी होती है। इसलिए बहुत सोच समझ कर करना पड़ता है।

चोटी बिछाने के समय अपनी आँखें ऊपर (आसमान की ओर) रखें। जब पानी में लाठी दबा दी जाती है, तो आँखें आसमान के ऊपर होनी चाहिए, उसी हालत में जैसे आँख आसमान के ऊपर रखी जाती है। नजर जमीन की तरफ नीचे हो जाये तो डंडा झुका कर ऊपर उठने में वक्त लगता है या कभी-कभी यह बढ़ता नहीं है।

प्याज़ लगा कर आँखे चेक हो जाने के बाद किसी मजदूर से कह दो की लावणी शुरू करने से पहले एक बार फिर सारे प्याज चेक कर ले। यानी लगाए गए बीजों में आँख नहीं होगी। इतनी सावधानी से सभी विकास बराबर और 95 टका से ऊपर होगा।

पानी में 1 आँख रखते हुए नरम जंगल हो तो पानी में डंडा को अपने हाथों से दबाएँ। और इसे 1 इंच से गहरा मत जाने दो। अगर गहरा तना जाता है, तो यह बढ़ने पर प्रभाव डालता है। जंगल कठिन हो और लाठी हाथ से न गई हो, तभी लाठी को पैरों से दबाएँ।

एक बीघा लगाने के बाद एक बीघा लगाते समय एक बीघा के लिए 250 से 300 नजर दूसरी तरफ रखें।

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*✍️ कृषि निष्ठा श्री सुरेश कबाड़े जी।

*रा. करंदवाडी तालुका:-वालवा* *जिला:-सांगली*

* मोबाइल:- 9403725999,

मोब79 7261 1847

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